"ग्राहक -भई , तुमने दाढी बनाने के साथ मेरी चमडी भी छील दी |
नाई- चिंता मत कीजिए , मैं आपसे केवल दाढी बनाने के ही पैसे लोंगा |"
नाई- चिंता मत कीजिए , मैं आपसे केवल दाढी बनाने के ही पैसे लोंगा |"
हसीनों से मिलें नज़रें अट्रैक्शन हो भी सकता है, चढ़े फीवर मोहब्बत का तो एक्शन हो भी सकता है, हसीनों को मुसीबत तुम समझ कर दूर ही रहना, ये अं...